हर इन्सान हर पल किसी ना किसी उधेड़बुन में रहता है। सफलता के लिए कई प्रकार के ताने बुनता है। इसी तरह उसकी जिन्दगी पूरी हो जाती हैं। उसके पास अपने लिए वक्त ही नहीं । बस अपने लिए थोड़ा सा समय निकाल लो और जिंदगी को केवल अपने और अपने लिए ही जीओ।
Wednesday 30 March, 2011
लाटरी में निकला भारत
जयपुर--सुबह का वक्त। कृषि विपणन मंत्री गुरमीत सिंह कुनर अपने सरकारी आवास पर आज कुछ अधिक व्यस्त हैं। दोपहर बाद मंडियों के आरक्षण की लाटरी निकालनी है। इसी से उनके दिल में आइडिया आया। भारत -पाक के लिए लाटरी निकालने का। सेमी फ़ाइनल में दो दिन बाकी थे । मन में उत्सुकता है कि कौन जीतेगा!वह दो दिन बाद होने वाले नतीजे को अभी जां लेना चाहता है। मगर आज बताए कौन कि जीत किसकी होगी। इस बारे में भविष्यवाणी करना असंभव है। तो क्या करे! दिल है की मानता नहीं। यही है क्रिकेट का जुनून,जादू । कोई भी हो, सर चढ़ कर बोलता है। बस, कुनर ने उन्होंने दो पर्चियां बनाई। एक पर लिखा भारत,एक पर पाकिस्तान। दोनों को मेज पर रख दिया। अपनी नन्ही सी पोती ख़ुशी को बुलाया। पर्ची उठवाई। जो पर्ची ख़ुशी ने मासूमियत से उठाई उस पर भारत लिखा था। मतलब, सेमी फ़ाइनल भारत की टीम जीतेगी। पर्ची कोई ऑक्टोपस नहीं,लेकिन गुरमीत सिंह को विश्वास है। मन को तसल्ली हुई। एक मासूम बालिका जो क्रिकेट को ना तो जानती है ना समझती है उसके हाथ ने जो पर्ची उठाई उस पर भारत है इसलिए भारत की जीत की सम्भावना है। इस प्रकार के टोटके हिन्दूस्तान में बहुत किये जाते हैं। असल मैच में क्या होगा? कौन जानता है। परन्तु श्री कुनर का दिल यह मानता है कि जीत भारत की होगी। बहुत कम लोग जानते हैं कि गुरमीत सिंह कुनर क्रिकेट मैच देखने के बहुत शौकीन हैं। आज से नहीं पहले से ही। यह उनके द्वारा अपने घर में निकलवाई गई लाटरी से भी साबित होता है। बेशक उस लाटरी का कोई मतलब नहीं मगर यह बात यह तो साबित करती ही है कि उनको क्रिकेट कितना भाता है।
Subscribe to:
Post Comments (Atom)
No comments:
Post a Comment